
कुछ दिनों पूर्व उदयपुर सीएमएचओ कार्यालय में एसीबी द्वारा की गई ट्रैप कार्रवाई में पकड़े गए आशीष डामोर प्रकरण ने अब नया मोड़ ले लिया है। बुधवार को इस मामले के परिवादी और संजीवनी हॉस्पिटल कोटड़ा के निदेशक विकास जैन मीडिया से रूबरू हुए और उन्होंने प्रेस वार्ता कर कई सनसनीखेज खुलासे किए।
विकास जैन ने आरोप लगाया कि ट्रैप में पकड़ा गया आशीष डामोर महज एक मोहरा है और इस पूरे रिश्वत प्रकरण का असली मास्टरमाइंड मुख्य जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) डॉ. अशोक आदित्य है। जैन ने कहा कि उन्होंने पूरे प्रकरण की शिकायत पहले ही कर दी थी, लेकिन जांच को गलत दिशा में मोड़ने की कोशिश की जा रही है।
उन्होंने मांग की कि सीएमएचओ डॉ. अशोक आदित्य और आशीष डामोर समेत अन्य संबंधित अधिकारियों के कॉल डिटेल्स, मोबाइल सर्विलांस, डिजिटल वॉइस रिकॉर्डिंग और व्हॉट्सएप चैट्स की गहराई से जांच की जानी चाहिए। उन्होंने संदेह जताया कि जब तक डॉ. आदित्य अपने पद पर बने रहेंगे, निष्पक्ष जांच संभव नहीं है, इसलिए उनका तत्काल ट्रांसफर आवश्यक है।
सबसे गंभीर बात यह रही कि विकास जैन ने प्रेस वार्ता में यह भी खुलासा किया कि उन्हें लगातार जान से मारने की धमकियाँ मिल रही हैं। उन्होंने प्रशासन और पुलिस से सुरक्षा प्रदान करने की मांग की।
अब देखना होगा कि प्रशासन इस गंभीर आरोप और धमकी की शिकायत पर क्या कार्रवाई करता है और क्या सीएमएचओ पर कोई सख्त कदम उठाए जाते हैं।