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जोधपुर। नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट( NEET ) 2024 में सामने आई बड़ी गड़बड़ी अब राजस्थान के प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थानों तक पहुँच गई है। सीबीआई की जांच की आंच अब जोधपुर के आयुर्वेद विश्वविद्यालय तक पहुँच चुकी है, जहाँ डमी अभ्यर्थियों को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है।
NEET 2024 में हुई कथित धांधली की जांच अब जोधपुर तक पहुँच गई है। केंद्रीय जांच ब्यूरो यानी CBI की टीम पिछले तीन-चार दिनों से डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन राजस्थान आयुर्वेद विश्वविद्यालय में डेरा डाले हुए है।
सूत्रों के अनुसार, CBI को ऐसे पुख्ता सुराग मिले हैं कि आयुर्वेद विश्वविद्यालय के कुछ छात्रों ने NEET परीक्षा में डमी अभ्यर्थी बनकर हिस्सा लिया।
CBI की टीम ने विश्वविद्यालय के द्वितीय और तृतीय वर्ष के करीब 10 से 12 छात्रों के फोटो और हस्ताक्षरों का मिलान किया है। साथ ही तकनीकी विश्लेषण से कई संदिग्ध बिंदुओं की जांच की जा रही है।
जांच में अब तक सबसे चौंकाने वाला नाम हुकमाराम गोदारा का सामने आया है, जो कि AIIMS जोधपुर का MBBS तृतीय वर्ष का छात्र है।
आरोप है कि हुकमाराम ने 4 लाख रुपए लेकर बिहार के मुजफ्फरपुर स्थित DAV स्कूल में राज पांडे नामक छात्र की जगह डमी अभ्यर्थी बनकर परीक्षा देने की कोशिश की थी। लेकिन बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन के दौरान पकड़ा गया।
यह पूरी जांच CBI के पटना स्थित शास्त्री नगर थाने में जून 2024 में दर्ज हुई FIR के बाद शुरू हुई थी। तभी से दिल्ली की स्पेशल CBI यूनिट इस मामले की परतें खोलने में जुटी है।
डॉ. प्रदीप कुमार प्रजापति, कुलपति, आयुर्वेद विश्वविद्यालय का कहना है की “CBI टीम हमारे विश्वविद्यालय में जांच कर रही है।
वे नीट परीक्षा में डमी कैंडिडेट्स की भूमिका की पुष्टि के लिए जरूरी दस्तावेज और डेटा देख रहे हैं। हम जांच में पूरा सहयोग कर रहे हैं।